शिक्षकों की सीआर भरना होगा अनिवार्य
धर्मेश अवस्थी, प्रयागराज : प्राथमिक स्कूलों में किस घंटे में कौन सा पाठ पढ़ाया जाना है, यह तय है। शिक्षक पाठ्यक्रम बच्चों को अच्छे से समझा सकें इसके लिए कई माड्यूल भी विकसित भी हो चुके हैं, फिर भी परिषदीय स्कूलों की दशा में अपेक्षित सुधार नहीं है। वजह शिक्षक पठन-पाठन के प्रति बेपरवाह हैं, कई शिक्षकों का तो स्कूल संचालन में भी सहयोग नहीं होता। शिक्षकों के कार्य व व्यवहार में सुधार लाने के लिए बेसिक शिक्षा परिषद ने कदम बढ़ाए हैं।
प्राथमिक व उच्च प्राथमिक स्कूलों में नियुक्ति पाने वाले शिक्षक की सर्विस बुक बनाई जाती है, जिसमें उसकी नियुक्ति की सूचना के साथ ही वेतनमान, मेडिकल, सीसीएल सहित अन्य सूचनाएं दर्ज करने के निर्देश हैं। इसके अलावा हर वर्ष सभी शिक्षकों की कांफिडेंशियल रिपोर्ट यानी सीआर दर्ज होना चाहिए। यह जिम्मेदारी उस क्षेत्र के खंड शिक्षाधिकारी को दी गई है।
हालत यह है कि सर्विस बुक में तमाम शिक्षकों की अहम सूचनाएं दर्ज ही नहीं हो रही हैं। मेडिकल, दंड या पुरस्कार व कार्य व्यवहार दर्ज करने के नाम पर खानापूरी की जा रही है। ऐसे में परिषद मुख्यालय अब सीआर दर्ज करने को अनिवार्य करने जा रहा है। इसके लिए सभी शिक्षकों का डाटा बैंक बन रहा है, इसमें एक कॉलम सीआर का होगा।
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