AWARD, CM, RETIRMENT : सीएम योगी आदित्यनाथ ने दी गुरुदक्षिणा, बेसिक के शिक्षकों का भी सेवा विस्तार 65 वर्ष तक करने की घोषणा की, शिक्षक पुरस्कार पर मिलेंगे 25 हजार
आईएएस नहीं गरीब के बेटे से सुधरेंगे स्कूल : दिनेश शर्मा
उपमुख्यमंत्री दिनेश शर्मा ने कहा कि कुछ लोग कहते हैं कि आईएएस अफसरों के बच्चे पढ़ने से स्कूल सुधरेंगे लेकिन स्कूल तभी अच्छा माना जाएगा जब वहां गरीब का बच्चा पढ़कर आगे निकले। सरकारी स्कूलों में श्रेष्ठ शिक्षक हैं लेकिन जब उनसे जनगणना और चुनाव जैसे काम लिए जाएंगे तो वह कब पढ़ाएंगे/ इन स्थितियों को हम बदल रहे हैं। जल्द ही शिक्षा सेवा चयन आयोगों का गठन कर खाली पदों को भरा जाएगा। हम नहीं चाहते कि शिक्षकों की बॉयोमीट्रिक हाजिरी हो लेकिन जो स्कूल नहीं आ रहे हैं उनके लिए क्या रास्ता निकाला जाए/ उन्होंने कहा कि निजी स्कूलों में फीस नियंत्रण के लिए जल्द नियमावली आएगी। कार्यक्रम को बेसिक शिक्षा राज्यमंत्री स्वतंत्र प्रभार अनुपमा जायसवाल, राज्यमंत्री संदीप सिंह, अपर मुख्य सचिव बेसिक आरपी सिंह व अपर मुख्य सचिव माध्यमिक एवं उच्च शिक्षा संजय अग्रवाल ने भी संबोधित किया। मंच पर कैबिनेट मंत्री सूर्यप्रताप शाही, स्वामी प्रसाद मौर्य, लक्ष्मीनारायण चौधरी, नंदगोपाल नंदी भी मौजूद थे।
कुछ विश्वविद्यालय पाकिस्तान का अजेंडा चला रहे: योगी आदित्यनाथ
सीएम ने कहा कि शिक्षण संस्थाओं की विश्व रैंकिंग से भारत गायब है। इस समस्या का निवारण शिक्षा जगत के लोगों को ही तलाशना होगा। यह केवल सरकारों के भरोसे नहीं हो सकता। गांव का मोची बेरोजगार हो गया और आज बाटा मोची बन गया। हमें यह सोचना होगा कि वर्तमान प्रतिस्पर्धा से संघर्ष करने के लिए अपने छात्रों को सक्षम बना पा रहे हैं/ उन्होंने कहा, यूपी बुद्ध का केंद्र है लेकिन यहां एक भी बुद्ध पर स्टडी सेंटर नहीं है। उनको पढ़ने के लिए जापान जाना पड़ता है। दुनिया के कल्याण का मार्ग प्रशस्त करने वाले, वसुधैव कुटुम्बकम की बात करने वालों को पश्चिम जगत के लोग और कुछ तथाकथित बुद्धिजीवी सांप्रदायिक बताते हैं। देश के कुछ विश्वविद्यालयों को तो इसका केंद्र बना दिया गया है। वह विश्व को भारत की देन व महान परंपराओं पर बात नहीं करते बल्कि कैसे भारत को बदनाम किया जाए, छवि बिगाड़ी जाए इस पर चर्चा होती है। वह पाकिस्तान की बात को पुष्ट करते हैं जिससे अंतरराष्ट्रीय स्तर पर देश को अलग-थलग खड़ा किया जा सके।
सीएम ने राधाकृष्णन को श्रद्धांजलि दी।
शिक्षक दिवस पर सीएम ने 40 शिक्षकों को बांटे पुरस्कार
पुरस्कारों की संख्या बढ़ेगी, बेसिक के पुरस्कृत शिक्षकों को 65 वर्ष तक सेवा विस्तार
एनबीटी ब्यूरो, लखनऊ । सीएम योगी आदित्यनाथ ने मंगलवार को शिक्षक दिवस पर शिक्षकों को कर्तव्यबोध कराने के साथ ही दिल खोल कर 'गुरुदक्षिणा' दी। योगी ने राज्य पुरस्कार की धनराशि 10 हजार से बढ़ाकर 25 हजार करने का ऐलान किया है। सीएम ने कहा कि पुरस्कारों में प्रदेश के सभी 75 जिलों का प्रतिनिधित्व हो। यानी अब बेसिक व माध्यमिक में हर जिले से एक-एक शिक्षक अगले साल से राज्य पुरस्कार से सम्मानित होंगे। वहीं पुरस्कार पाने वाले बेसिक के शिक्षकों का भी सेवा विस्तार 65 वर्ष तक करने की घोषणा की है। अब तक उन्हें 64 वर्ष तक ही सेवा विस्तार मिलता था।
सीएम ने लोकभवन में आयोजित समारोह में बेसिक, माध्यमिक एवं उच्च शिक्षा विभाग के चयनित 40 शिक्षकों को पुरस्कार से नवाजा। उच्च शिक्षा के शिक्षकों को सरस्वती एवं शिक्षक श्री पुरस्कार दिए गए जिसमें क्रमश: 3 लाख एवं 1.5 लाख की धनराशि दी जाती हैं। वहीं माध्यमिक एवं बेसिक के शिक्षकों को राज्य शिक्षक पुरस्कार के तौर पर 10 हजार रुपये की धनराशि दी गई। सीएम ने कहा कि राशि में भेदभाव है। इसे बढ़ाया जाना जरूरी है। उन्होंने कहा कि किसी भी नेता की सिफारिश पर कोई पुरस्कार न दिया जाए। आगे से आवेदन प्रक्रिया भी पद्म पुरस्कारों की तरह ऑनलाइन की जाएगी जिससे सबकी भागीदारी हो सके। जब आप एक अपात्र को पुरस्कार देते हैं तो एक पूरी पीढ़ी को बर्बाद करते हैं। उन्होंने एक प्राइमरी स्कूल की नजीर रखी जिसमें शिक्षक के व्यक्तिगत प्रयास से वहां नामांकन 36 से 300 पहुंच गया। उन्होंने कहा कि प्रदेश में ऐसे करीब 1000 स्कूल काम कर रहे हैं। पुरस्कारों में इन योगदानों को भी चिह्नित करने की जरूरत है। उन्होंने यूपी बोर्ड में नकलविहीन परीक्षा की तैयारी अभी से करने और दागी स्कूलों को सेंटर न बनाने के निर्देश दिए। सीएम ने उच्च शिक्षा विभाग की नई वेबसाइट और बेसिक शिक्षा विभाग की ईबुक भी लॉन्च की।
शिक्षक पुरस्कार पर मिलेंगे ~ 25 हजार
बेसिक शिक्षा
गीता रानी, लालबहादुर वर्मा, इंबिसा तुल हसन रिजवी, अरुणेंद्र प्रसाद त्रिपाठी, अयूब खान, शिवशरण सिंह, शाहिद हसन, मजीद उल्ला, पूर्णिमा श्रीवास्तव, विशाखा चौहान, अवधेश, रामचंद्र चौधरी, सुभाष चंद्र मिश्र, संतोष कुमार, विक्रम सिंह, मिथलेश कुमार व ईश्वर सिंह।
माध्यमिक शिक्षा
डा़ वेदप्रकाश आर्य, डॉ. नीलकांत वर्मा, एचएन उपाध्याय, डॉ़ नंदलाल यादव, इंद्रा राठौर, ब्रज बल्लभ सिंह, शक्तिप्रकाश पाठक, कृष्ण्पाल सिंह।
उच्च शिक्षा
2016 : सरस्वती सम्मान : प्रो़ नीलिमा गुप्ता,डॉ़ शशि मलिक। शिक्षक श्री : प्रो. एचएस शुक्ल, प्रो़ अरविंद कुमार, प्रो़ ज्ञान प्रकाश यादव और गीता यादव । सरस्वती सम्मान : प्रो़ ओमकार, डॉ़ अशोक कुमार वर्मा, डॉ गायड सिंह। शिक्षकश्री : प्रो़ राजीव मनोहर, मो़ सेराजुद्दीन प्रो़ एसके सेनगुप्ता, डॉ़ भाष्कर शुक्ल, डॉ़ श्रीप्रकाश, डा़ एसके शुक्ल।
बढ़ेगी राज्य अध्यापक पुरस्कार की रकम और संख्या
लखनऊ : मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने मंगलवार को शिक्षक दिवस पर बेसिक और माध्यमिक शिक्षा के क्षेत्र में दिये जाने वाले राज्य अध्यापक पुरस्कारों की धनराशि और संख्या दोनों बढ़ाने का एलान किया। राज्य अध्यापक पुरस्कार की राशि को उन्होंने 10 हजार से बढ़ाकर 25 हजार रुपये करने की घोषणा की। वहीं यह भी कहा कि
इन पुरस्कारों में प्रदेश के हर जिले को प्रतिनिधित्व मिलना चाहिए। आशय था कि बेसिक और माध्यमिक शिक्षा के लिए दिए जाने वाले राज्य अध्यापक पुरस्कारों की संख्या अब 75 होनी चाहिए। अभी बेसिक शिक्षा के क्षेत्र में 17 और माध्यमिक शिक्षा से जुड़े आठ शिक्षकों व एक शिक्षक प्रशिक्षक को राज्य अध्यापक पुरस्कार दिया जाता है। इसके साथ ही उन्होंने राज्य अध्यापक पुरस्कार पाने वाले बेसिक शिक्षकों को 65 वर्ष की आयु तक सेवा विस्तार देने का भी एलान किया। इससे पुरस्कार पाने वाले परिषदीय स्कूलों के शिक्षकों को दो की बजाय अब तीन वर्ष का सेवा विस्तार मिल सकेगा। 1नेताओं की सिफारिश पर न दें पुरस्कार : लोक भवन में आयोजित राज्य अध्यापक पुरस्कार समारोह को बतौर मुख्य अतिथि संबोधित करते हुए मुख्यमंत्री ने शिक्षा से जुड़े अधिकारियों को नेताओं की सिफारिश पर शिक्षकों को पुरस्कार कतई न देने की हिदायत दी। यह कहते हुए कि अपात्र व्यक्ति को सम्मान देकर आप पूरी पीढ़ी के साथ अन्याय करते हैं। उन्होंने शिक्षक पुरस्कारों के लिए केंद्र सरकार द्वारा पद्म पुरस्कारों के लिए लागू की गई ऑनलाइन व्यवस्था को अपनाने का निर्देश दिया। 1शिक्षकों को दिखाया आईना : मुख्यमंत्री ने जहां पिछले पांच महीने के दौरान बेसिक शिक्षा के क्षेत्र में हुए सुधार की सराहना की, वहीं शिक्षा क्षेत्र में आई गिरावट के लिए शिक्षकों को आईना भी दिखाया। समारोह में उपस्थित शिक्षकों से उन्होंने कहा कि हमारे पास विश्वविद्यालय, महाविद्यालय और अच्छे स्कूल भी हैं लेकिन दुनिया के शीर्ष शिक्षण संस्थानों की रेटिंग में भारत और उप्र गायब हैं। ऐसा क्यों? आज क्यों देश और उप्र शिक्षा के अंतिम पायदान पर खड़ा है? यह भी सवाल किया कि कब उप्र पहले की तरह देश और विदेश में योग्य शिक्षकों का निर्यातक बन पाएगा? शिक्षकों का आह्वान किया कि शिक्षा जगत की शिकायतों का हल उन्हें खुद ढूंढ़ना होगा। आती-जाती सरकारों पर यह दायित्व थोपने से कुछ हासिल नहीं होगा। उन्होंने प्रदेश के उस परिषदीय विद्यालय के प्रधानाध्यापक की सराहना की जिन्होंने अपने प्रयास से सकूल में बच्चों की संख्या को 36 से 300 पहुंच दिया। 1छात्रों को प्रतिस्पर्धा के योग्य बनाएं : योगी ने कहा कि आज बाटा सबसे बड़ा मोची बन गया है और गांव का मोची बेरोजगार। क्या शिक्षा जगत नहीं सोचेगा कि कैसे हम अपने छात्रों को इस प्रतिस्पर्धा का सामना करने के योग्य बनाएं। 1अभी से करें नकलविहीन परीक्षा की तैयारी : योगी ने अगले साल होने वाली परीक्षाओं को नकलविहीन संपन्न कराने के लिए अभी से तैयारियां करने के लिए कहा। दागी परीक्षा केंद्रों को प्रतिबंधित करने का निर्देश दिया। 1शिक्षक सोचें क्यों पड़ी बायोमेटिक हाजिरी की जरूरत : दिनेश शर्मा1अपने संबोधन में उप मुख्यमंत्री डॉ.दिनेश शर्मा ने कहा कि नवंबर तक राज्य विश्वविद्यालयों में शिक्षकों के रिक्त पद भर दिये जाएंगे। वहीं जल्द ही उच्चतर शिक्षा सेवा आयोग और माध्यमिक शिक्षा सेवा चयन बोर्ड का पुनर्गठन कर शिक्षकों की भर्ती शुरू की जाएगी। उन्होंने शिक्षकों से इस बात पर विचार करने के लिए कहा कि आखिर सरकार को शिक्षकों की बायोमेटिक हाजिरी लगवाने के बारे में क्यों सोचना पड़ रहा है। उन्होंने बताया कि निजी स्कूलों की फीस नियंत्रित करने की नियमावली जल्दी लागू की जाएगी। अगले सत्र से यूपी बोर्ड के मान्यताप्राप्त स्कूलों में लागू किये जाने वाले एनसीईआरटी कोर्स में 30 फीसद पाठ्यक्रम यूपी बोर्ड का भी होगा। संस्कृत शिक्षा के उत्थान के लिए लखनऊ विश्वविद्यालय के अभिनव गुप्त संस्थान का कायाकल्प किया जाएगा। समारोह को बेसिक शिक्षा राज्य मंत्री स्वतंत्र प्रभार अनुपमा जायसवाल और राज्य मंत्री संदीप सिंह ने भी संबोधित किया।1उत्कृष्ट सेवाओं के लिए 40 शिक्षक सम्मानित : इस अवसर पर मुख्यमंत्री ने बेसिक, माध्यमिक और उच्च शिक्षा के क्षेत्र में उत्कृष्ट सेवाओं के लिए 40 शिक्षकों को सम्मानित किया। सम्मानित किये गए शिक्षकों में 17 बेसिक, आठ माध्यमिक और 15 उच्च शिक्षा से जुड़े हैं। बेसिक और माध्यमिक शिक्षकों को पुरस्कारस्वरूप 10 हजार रुपये के चेक प्रदान किये गए। वहीं उच्च शिक्षा के लिए सरस्वती सम्मान से अलंकृत शिक्षकों को तीन लाख रुपये और शिक्षक श्री सम्मान से विभूषित अध्यापकों को डेढ़ लाख रुपये की पुरस्कार राशि दी गई। 1सरस्वती सम्मान (वर्ष 2016)1’ प्रो
AWARD : 40 शिक्षकों को मिला पुरस्कार,
प्रमुख संवाददाता- राज्य मुख्यालय राज्य अध्यापक सम्मान समारोह में मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने बेसिक, माध्यमिक व उच्च शिक्षा के 40 शिक्षकों को सम्मानित किया। बेसिक व माध्यमिक शिक्षा के अध्यापकों को स्मृति चिह्न, अंगवस्त्र व 10 हजार रुपये की धनराशि दी गई जबकि उच्च शिक्षा में स्मृति चिह्न, अंगवस्त्र के साथ सरस्वती पुरस्कार में 3-3 लाख रुपये की धनराशि, शिक्षक श्री पुरस्कार में 1.50 लाख रुपये की धनराशि दी गई। उच्च शिक्षा में पुरस्कृत शिक्षकों को 2 वर्ष का सेवा विस्तार दिया जाएगा जबकि बेसिक व माध्यमिक शिक्षा में 65 वर्ष की आयु तक सेवा विस्तार दिया जाएगा। अभी तक माध्यमिक शिक्षा में पुरस्कृत शिक्षकों को 65 वर्ष की आयु तक सेवा विस्तार दिया जाता रहा है लेकिन बेसिक शिक्षा में सेवा विस्तार 2 वर्ष का ही था। पुरस्कृत अध्यापकों की सूची- बेसिक शिक्षा---- प्रधानाध्यापक--- इम्बिसा हसन तुल रिजवी, प्राथमिक विद्यालय इस्माइलपुरा नगर क्षेत्र, सीतापुर अरुणेन्द्र प्रसाद त्रिपाठी, पूर्व माध्यमिक विद्यालय, भिटिया उस्का बाजार, सिद्धार्थनगर अय्यूब खान, उ.प्रा.वि., पांचली बुजुर्ग, सरूर खुर्द, मेरठ शाहिद हसन, प्रा.वि., नं-2, शाहजहांपुर, माछरा, मेरठ मजीद उल्ला, , प्रा.वि., सम्हई, ज्ञानपुर, भदोही राम चंद्र चौधरी, छत्रपति शिवाजी स्मारक पू.मा.वि., मुड़ियाखुर्द, जीजाबाई नगर, चिल्हिया, शोहरतगढ़, सिद्धार्थनगर सुभाष चंद्र मिश्र, पू.मा.वि., पड़ैया, कांट, शाहजहांपुर संतोष कुमार, उ.प्रा.वि., सैदपुर कुरमियान, बिथरी, बरेली विक्रम सिंह, प्रा.वि., पिलख-2, झींझक, कानपुर देहात मिथिलेश कुमारी, प्रा.वि. काजीवाला, कोतवाली, बिजनौर ईश्वर सिंह, प्रा.वि., कुन्हैड़ा, मुरादनगर, गाजियाबाद पुरस्कृत सहायक अध्यापकों की सूची गीता रानी, पूर्व माध्यमिक विद्यालय, बहलना, सदर मुजफ्फरनगर लाल बहादुर वर्मा, पू.मा.वि., उत्तरगांवा, धर्मापुरा, जौनपुर शिव शरण सिंह, पू.मा.वि., पूरेमोहारी, हरचंदपुर, रायबरेली पूर्णिमा श्रीवास्तव, पू.मा.वि., उत्तरधोना, चिनहट, लखनऊ विशाखा चौहान, पू.मा.वि., साढ़ौली हरिया, रामपुर मनिहारन, सहारनपुर अवधेश, पू.मा.वि., कौड़ीराम, गोरखपुर --------------------------------------------------------- माध्यमिक शिक्षा के पुरस्कृत अध्यापकों की सूची -डा वेद प्रकाश आर्य, प्रधानाध्यापक, हनुमत इंटर कॉलेज, धम्मौर, सुलतानपुर - डा नीलकांत वर्मा, प्रधानाचार्य, राजकरन वैदिक पाठशाला इंटर कॉलेज, फैजाबाद -हरि नारायण उपाध्याय, प्रधानाचार्य, एमडी शुक्ला इंटर कॉलेज, लखनऊ - डा नंद लाल यादव, प्रवक्ता, जीआईसी, अकबरपुर, अम्बेडकरनगर -इंद्रा राठौरा, सहायक अध्यापक, मदन मोहन कनोडिया बालिका इंटर कॉलेज, फर्रुखाबाद - ब्रज बल्लभ सिंह सेंगर, प्रधानाचार्य, सेठ वृंदावन इंटर कॉलेज, कोंच, जालौन -डा शक्ति प्रकाश पाठक, प्रधानाचार्य, अन्नपूर्णा इंटर कॉलेज, गोस्वलियां, कुशीनगर -कृष्णपाल सिंह तंवर, प्रधानाचार्य, जनता इंटर कॉलेज, सूजरा, बागपत -------------------------------------------------- उच्च शिक्षा पुरस्कृत अध्यापकों की सूची सरस्वती सम्मान (वर्ष 2016) -प्रो.नीलिमा गुप्ता, एनिमल साइंस विभाग, एमजेपी रुहेलखंड विश्वविद्यालय, बरेली -डॉ.शशि मलिक, असिस्टेंट प्रोफेसर शिक्षाशास्त्र, विद्यावती मुकुंदलाल महिला महाविद्यालय, गाजियाबाद सरस्वती सम्मान (वर्ष 2017) -प्रो.ओमकार, प्राणि विज्ञान विभाग, लखनऊ विश्वविद्यालय -डॉ.अशोक कुमार वर्मा, असिस्टेंट प्रोफेसर जंतु विज्ञान, राजकीय स्नातकोत्तर महाविद्यालय, सैदाबाद, इलाहाबाद -डॉ.गायड सिंह राठौर, एसोसिएट प्रोफेसर, उदय प्रताप महाविद्यालय, वाराणसी --------------------------------------------------- शिक्षक श्री सम्मान (वर्ष 2016) -प्रो.एचएस शुक्ल, गणित एवं सांख्यिकी विभाग, पंडित दीनदयाल उपाध्याय गोरखपुर विश्वविद्यालय -प्रो.अरविंद कुमार, वाणिज्य विभाग, लखनऊ विश्वविद्यालय -डॉ.ज्ञान प्रकाश यादव, असिस्टेंट प्रोफेसर मैनेजमेंट, उप्र राजर्षि टंडन मुक्त विश्वविद्यालय, इलाहाबाद -डॉ.गीता सिंह, एसोसिएट प्रोफेसर ङ्क्षहदी, डीएवी पीजी कॉलेज, आजमगढ़ शिक्षक श्री सम्मान (वर्ष 2017) -प्रो.राजीव मनोहर, भौतिकी विभाग, लखनऊ विश्वविद्यालय -प्रो.सौमित्र कुमार सेनगुप्ता, रसायनशास्त्र विभाग, पं.दीनदयाल उपाध्याय गोरखपुर विश्वविद्यालय -डॉ.मो.सेराज उद्दीन, प्राणि विज्ञान विभाग, लखनऊ विश्वविद्यालय -डॉ.भाष्कर शुक्ल, असिस्टेंट प्रोफेसर शारीरिक शिक्षा, हेमवंती नंदन बहुगुणा राजकीय स्नातकोत्तर महाविद्यालय, नैनी, इलाहाबाद -डॉ.श्री प्रकाश, सहायक आचार्य, जंतु विज्ञान, कुलभाष्कर आश्रम पीजी कॉलेज, इलाहाबाद -डॉ.संजीव कुमार शुक्ल, असिस्टेंट प्रोफेसर , श्री गांधी महाविद्यालय, सिधौली, सीतापुर
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📌 AWARD, CM, RETIRMENT : सीएम योगी आदित्यनाथ ने दी गुरुदक्षिणा, बेसिक के शिक्षकों का भी सेवा विस्तार 65 वर्ष तक करने की घोषणा की, शिक्षक पुरस्कार पर मिलेंगे 25 हजार
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