BASIC SHIKSHA, BOARD : बेसिक शिक्षा सेवा चयन बोर्ड बनाने की तैयारी, उप्र बेसिक शिक्षा सेवा चयन बोर्ड के गठन के लिए योगी सरकार विधेयक लाएगी
राज्य ब्यूरो, लखनऊ : उप्र बेसिक शिक्षा सेवा चयन बोर्ड के गठन के लिए योगी सरकार विधेयक लाएगी। बोर्ड के गठन के लिए मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ की ओर से हरी झंडी दिखाए जाने के बाद बेसिक शिक्षा विभाग उप्र बेसिक शिक्षा सेवा चयन बोर्ड अधिनियम का विधेयक बनाने में जुट गया है। प्रस्तावित विधेयक को विधानमंडल के आगामी सत्र में पारित कराने का इरादा है।
फिलहाल विभाग ने बेसिक शिक्षा सेवा चयन बोर्ड के गठन का खाका माध्यमिक शिक्षा सेवा चयन बोर्ड अधिनियम की तर्ज पर खींचा है। विभाग की ओर से तैयार किए गए विधेयक के प्रारंभिक प्रारूप के मुताबिक बेसिक शिक्षा सेवा चयन बोर्ड में अध्यक्ष के अलावा 10 सदस्य होंगे। बोर्ड परिषदीय स्कूलों के शिक्षकों के अलावा सहायताप्राप्त प्राथमिक व उच्च प्राथमिक स्कूलों के अध्यापकों व प्रधानाचार्यो का भी चयन करेगा। सदस्यों में अपर या संयुक्त निदेशक स्तर के शिक्षा विभाग के दो अधिकारी होंगे। शिक्षण क्षेत्र में 20 साल से ज्यादा अनुभव रखने वाले गैर-सरकारी क्षेत्र के दो शिक्षाविद् होंगे। विश्वविद्यालय या डिग्री कॉलेज के दो प्रोफेसर होंगे। राजकीय इंटर कॉलेज में प्रधानाचार्य के पद पर 15 साल से अधिक समय से कार्यरत दो शिक्षक भी प्रस्तावित बोर्ड के सदस्य होंगे। इनके अलावा सहायताप्राप्त माध्यमिक विद्यालय में प्रधानाचार्य के पद पर 15 वर्षों से तैनात शिक्षक और सहायताप्राप्त जूनियर हाईस्कूल में 20 साल की सेवा पूरी कर चुके प्रधानाचार्य भी बोर्ड के सदस्य होंगे। बोर्ड के अध्यक्ष का कार्यकाल तीन साल और सदस्यों का दो वर्ष प्रस्तावित है। 1बेसिक शिक्षा सेवा चयन बोर्ड के गठन को लेकर बुधवार को सचिव बेसिक शिक्षा अजय कुमार सिंह की अध्यक्षता में विभागीय अधिकारियों की बैठक हुई। बैठक में बोर्ड द्वारा शिक्षकों का चयन किए जाने की प्रक्रिया पर भी मंथन हुआ। इस सिलसिले में जल्द ही विभागीय अधिकारियों की बैठक फिर होगी। बेसिक शिक्षा विभाग ने मुख्यमंत्री के सामने बीते दिनों अपने प्रस्तुतीकरण में बेसिक शिक्षा सेवा चयन बोर्ड के गठन की पेशकश की थी। मुख्यमंत्री ने इससे सहमति जताते हुए बोर्ड के गठन के लिए कार्यवाही करने का निर्देश दिया था।
राज्य ब्यूरो, लखनऊ : उप्र बेसिक शिक्षा सेवा चयन बोर्ड के गठन के लिए योगी सरकार विधेयक लाएगी। बोर्ड के गठन के लिए मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ की ओर से हरी झंडी दिखाए जाने के बाद बेसिक शिक्षा विभाग उप्र बेसिक शिक्षा सेवा चयन बोर्ड अधिनियम का विधेयक बनाने में जुट गया है। प्रस्तावित विधेयक को विधानमंडल के आगामी सत्र में पारित कराने का इरादा है।
फिलहाल विभाग ने बेसिक शिक्षा सेवा चयन बोर्ड के गठन का खाका माध्यमिक शिक्षा सेवा चयन बोर्ड अधिनियम की तर्ज पर खींचा है। विभाग की ओर से तैयार किए गए विधेयक के प्रारंभिक प्रारूप के मुताबिक बेसिक शिक्षा सेवा चयन बोर्ड में अध्यक्ष के अलावा 10 सदस्य होंगे। बोर्ड परिषदीय स्कूलों के शिक्षकों के अलावा सहायताप्राप्त प्राथमिक व उच्च प्राथमिक स्कूलों के अध्यापकों व प्रधानाचार्यो का भी चयन करेगा। सदस्यों में अपर या संयुक्त निदेशक स्तर के शिक्षा विभाग के दो अधिकारी होंगे। शिक्षण क्षेत्र में 20 साल से ज्यादा अनुभव रखने वाले गैर-सरकारी क्षेत्र के दो शिक्षाविद् होंगे। विश्वविद्यालय या डिग्री कॉलेज के दो प्रोफेसर होंगे। राजकीय इंटर कॉलेज में प्रधानाचार्य के पद पर 15 साल से अधिक समय से कार्यरत दो शिक्षक भी प्रस्तावित बोर्ड के सदस्य होंगे। इनके अलावा सहायताप्राप्त माध्यमिक विद्यालय में प्रधानाचार्य के पद पर 15 वर्षों से तैनात शिक्षक और सहायताप्राप्त जूनियर हाईस्कूल में 20 साल की सेवा पूरी कर चुके प्रधानाचार्य भी बोर्ड के सदस्य होंगे। बोर्ड के अध्यक्ष का कार्यकाल तीन साल और सदस्यों का दो वर्ष प्रस्तावित है। 1बेसिक शिक्षा सेवा चयन बोर्ड के गठन को लेकर बुधवार को सचिव बेसिक शिक्षा अजय कुमार सिंह की अध्यक्षता में विभागीय अधिकारियों की बैठक हुई। बैठक में बोर्ड द्वारा शिक्षकों का चयन किए जाने की प्रक्रिया पर भी मंथन हुआ। इस सिलसिले में जल्द ही विभागीय अधिकारियों की बैठक फिर होगी। बेसिक शिक्षा विभाग ने मुख्यमंत्री के सामने बीते दिनों अपने प्रस्तुतीकरण में बेसिक शिक्षा सेवा चयन बोर्ड के गठन की पेशकश की थी। मुख्यमंत्री ने इससे सहमति जताते हुए बोर्ड के गठन के लिए कार्यवाही करने का निर्देश दिया था।
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