बच्चों को बांटी जाने वाली मुफ्त किताबों की जांच अब नेशनल टेस्ट हाउस कोलकाता से कराने की तैयारी : सेंटर पेपर एंड इंस्टीट्यूट सहारनपुर (सीपरी) से जांच करने से इन्कार कर दिए जाने के बाद जांच एजेंसी बदलने पर सहमति बनी
लखनऊ (ब्यूरो)। परिदषीय स्कूलों में बच्चों को बांटी जाने वाली मुफ्त किताबों की जांच अब नेशनल टेस्ट हाउस कोलकाता से कराने की तैयारी है। बेसिक शिक्षा निदेशालय के प्रस्ताव पर शासन में सहमति बन गई है। बताया जाता है कि सेंटर पेपर एंड इंस्टीट्यूट सहारनपुर (सीपरी) से जांच करने से इन्कार कर दिए जाने के बाद जांच एजेंसी बदलने पर सहमति बनी है।
राज्य सरकार सर्व शिक्षा अभियान के तहत परिषदीय स्कूलों में पढ़ने वाले करीब पौने दो करोड़ बच्चों को हर साल मुफ्त किताबें बांटवाती है। इन किताबों की छपाई पर करीब सवा सौ करोड़ रुपये के आसपास खर्च आता है। किताबों की छपाई के लिए प्राइवेट प्रिंटर्स को ठेका दिया जाता है। मुफ्त किताबों की छपाई के लिए जारी होने वाली नीति में व्यवस्था दी जाती है कि बेसिक शिक्षा निदेशक अपने स्तर पर किताबों की जांच कराएगा।
बताया जाता है कि इस बार बेसिक शिक्षा मंत्री योगेश प्रताप सिंह की अध्यक्षता में 14 अगस्त को हुई बैठक में तय किया गया कि किताबों की जांच सीपरी से कराई जाएगी। इसके कुछ हफ्तों बाद ही सीपरी ने किताबों जांच करने से इन्कार कर दिया। इसके बाद बेसिक शिक्षा निदेशक ने शासन से दूसरी जांच एजेंसी से जांच कराने का अनुरोध किया था।
खबर साभार : अमरउजाला
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