सरकारी कर्मचारियों को मोदी सरकार का तोहफा : बढ़ेगी 40 फीसदी सैलरी सातवें वेतन आयोग की रिपोर्ट जल्द सरकार को सौंपी जाएगी,अगले साल से आयोग की सिफारिशें लागू होने की उम्मीद
नई दिल्ली | केन्द्रीय सरकारी कर्मचारी सातवें वेतन आयोग की रिपोर्ट का बेशब्री से इन्तजार कर रहे हैं | उम्मीद की जा रही है कि सातवें वेतन आयोग की रिपोर्ट 31 अक्टूबर तक पेश हो जाएगी | माना जा रहा है कि इस बार की सिफारिशों के बाद सरकारी कर्मचारियों केवेतन में 30 से 40 फीसदी तक बढ़ोतरी हो सकती है | आयोग की सिफारिशें अगले साल से लागू की जा सकती है | भारतीय मिडिल क्लास का एक तिहाईहिस्सा सरकारी कर्मचारी है और सातवें वेतन आयोग की रिपोर्ट से भारतीय बाजार पर भी बहुत फर्क पड़ता है | सातवें वेतन आयोग की सिफारिशें लागू होने के बाद जहाँ केंद्र सरकार के कर्मचारियों के वेतन में बढ़ोत्तरी होगी वहीँ जल्द ही राज्य सरकार के कर्मचारियों के वेतन में बढ़ोत्तरी होने की उम्मीद है |
गुजरात और मध्य परदेश की सरकार ने इस ओर इशारा कर दिया है कि वो जनवरी 2016 से ही अपने कर्मचारियों के वेतन में बढ़ोत्तरी कर सकती है |
सूत्रों की माने तो अगले साल तक सरकारी कर्मचारियों की सैलरी बढ़ने की उम्मीद के चलते कई इन्वेस्टर्स कार बाजार जैसे उद्योग में पैसा लगाने का मन बना रहे हैं | ऐसा देखा गया है पिछली बार वेतन आयोग की सिफारिशें लागू होने के बाद कार बाजार में 18 फीसदी तक की बढ़ोत्तरी हो गयी है |
एक जनवरी 2016 से लागू होने वाले सातवें वेतन आयोग का लाभ 50 लाख केन्द्रीय कर्मचारियों और लगभग 30 लाख पेंशनर्स को मिलने वाला है | पांचवे व छठवें वेतन आयोग की सिफारिशों को देखते हुए सातवाँ वेतन आयोग लागू होने पर कर्मचारियों के मूलवेतन में 40 से 50 प्रतिशत तक की बढ़ोत्तरी हो सकती है |
पांचवे वेतन आयोग के बाद कर्मचारियों के मूल वेतन में करीब 50 प्रतिशत तक की बढ़ोत्तरी हुई थी जबकि छठे वेतन आयोग में हए वृद्धि न्यूनतम 40 प्रतिशत थी | सातवाँ वेतन लागू करने के लिए राज्य सरकारें केंद्र से आर्थिक मदद की मांग भी कर रही हैं | क्योंकि इतना सुनिश्चित है कि सातवाँ वेतन आयोग केंद्र और राज्य सरकार पर वित्तीय बोझ डालने वाला है |
सातवाँ वेतन आयोग भी पिछले आयोगों की तरह मिलती-जुलती बढ़त ही देने वाला है | केंद्र सरकार के कर्मचारियों के लिए नए वेतन आयोग में अधिक वेतन 26000 रुपये मासिक करने का आग्रह किया गया है | लेकिन खबर है की जस्टिस अशोक कुमार माथुर की अध्यक्षता वाला सातवाँ वेतन आयोग इतना मासिक वेतन देने के लिए केंद्र सरकार को नहीं कहने वाला है |
अभी सबसेछोटे कर्मचारियों का बेसिक वेतन 7000 रुपये है मंहगाई के मद्देनजर वेतन में यह छलांग साढ़े तीन गुना से ज्यादा मांगी गयी है | कर्मचारियों के लिए खुश खबरी यह है कि सातवाँ वेतन आयोग यह जरूर ध्यान रखेगा कि छोटे-बड़े कर्मचारियों की वेतन वृद्धि एक सामान प्रतिशत में की जाए | पिछला वेतन आयोग कई मामलों में अच्छा रहा है लेकिन उसमे यहविसंगति रह गयी थी कि किसी पद को पांच प्रतिशत की वेतन वृद्धि मिल गयी थी और किसी को कम |
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