शिक्षकों को पता नहीं, कैसे बने बच्चों के आधार कार्ड : मानव संसाधन विकास मंत्रालय ने सभी सरकारी विद्यालयों में छह से 18 वर्ष के बच्चों का आधार कार्ड अनिवार्य रूप से बनाने के दिये निर्देश
लखनऊ। भले ही मानव संसाधन विकास मंत्रालय ने सभी सरकारी विद्यालयों में छह से 18 वर्ष के बच्चों का आधार कार्ड अनिवार्य रूप से बनाने के निर्देश दिए हों। लेकिन ज्यादातर विद्यालयों में शिक्षकों को आधार कार्ड नामांकन की जानकारी ही नहीं है। ऐसे में बच्चों के आधार कार्ड बनने में दिक्कतें हो रही हैं। बावजूद इसके शिक्षा विभाग केजनपदीय व विकास खंड स्तर के अधिकारी मद्द नहीं कर रहे। बीते दिनों प्रमुख सचिव नियोजन की अध्यक्षता में हुई बैठक में इस पर नाराजगी जताई गई। साथ ही निर्देश दिए कि 31 अगस्त तक स्कूलों में बच्चों का आधार कार्ड बना दिया जाए।
दरअसल,आधार कार्ड के लिए जनपद स्तर पर जिला बेसिक शिक्षा अधिकारी, विकास खंड स्तर पर खंड शिक्षा अधिकारी नोडल अधिकारी नामित किए गए हैं। बावजूद इसके अफसर नामांकन को गंभीरता से नहीं ले रहे हैं। बेसिक शिक्षा निदेशक डीबी शर्मा ने सभी बेसिक शिक्षा अधिकारियों को पत्र जारी करते हुए कक्षा एक से आठ तक के विद्यालयों में बच्चों का आधार कार्ड बनवाने के निर्देश दिए हैं। उन्होंने कहा है कि सभी प्राथमिक ,उच्च प्राथमिक विद्यालय के प्रधानाध्यापक को आधार नामांकन की जानकारी दी जाए। साथ ही उन्हें निर्देश दिए जाएं कि शिविर लगने के पहले बच्चों का पहचान पत्र तैयार कर लें, जिससे आधार नामांकन शिविर के समय कम समय में ज्यादा से ज्यादा बच्चों का आधार कार्ड तैयार हो सके।
खबर साभार : डीएनए
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